आरा/मनीष
बिहार में पंचायत चुनाव का आग़ाज़ हो चुका है.भोजपुर जिले के लगभग सभी ग्रामपंचायतों के चौक-चौराहों और चौपालों पर भावी उम्मीदवारों की चर्चा जोर पकड़ चुकी है.जनसंपर्क अभियान भी खूब चलाया जा रहा है. दबंगता को लेकर मशहूर रहे कई लोग जहां अपने बाहुबल के बूते प्रधानी (मुखिया) का रुतबा हासिल करने का मंसूबा पाल रहे हैं वहीं कई ऐसे भी हैं जो समाजसेवा के जरिये क्षेत्र में बनी पहचान को अपनी पूंजी मान चुनाव मैदान में हैं. ऐसे ही भावी उम्मीदवारों में हैं रंगीता देवी. भोजपुर जिला के शाहपुरा प्रखंड अन्तर्गत ईश्वरपुरा पंचायत के मुखिया पद के लिए वह चुनाव मैदान में दमख़म के साथ उतर रही हैं. ईश्वरपुरा पंचायत में कुल 6 गांव आते हैं- ईश्वरपुरा, सोनबरसा का आधा भाग, करनामेंपुर का एकचौथाई भाग, ओझवलिया, मिल्की और मानसिंहपुर. छह गांवों को समेटे इस पंचायत की वह सबसे ताकतवर भावी उम्मीदवार मानी जा रही हैं. समाजसेवा के क्षेत्र में इनकी अलग पहचान है.
बिहार के उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर 15 अगस्त 2021 को रंगीता को ‘बिहार गौरव’ सम्मान से नवाजा. रंगीता देवी मूल रूप से भोजपुर जिला के शाहपुर प्रखंड अंतर्गत ईश्वरपुरा पंचायत के अशोक मिश्र की धर्मपत्नी हैं और दिवंगत पुलिसकर्मी शिव दरस मिश्र की पुत्रवधु हैं.अशोक मिश्रा पेशे से व्यवसायी हैं. पंचायत में उनकी अच्छी पहचान है ही, सत्ताधारी जदयू से जुड़ी होने के कारण रंगीता देवी भी लोगों के दिलों के करीब हैं. वह पंचायतवासियों के हर सुख-दुख में साथ रहती हैं. इसी खासियत ने उन्हें सबसे अलग और खास बना दिया है.